Description
🔭 परिचय:
काल पुरुष कुंडली (Kal Purush Kundli) वैदिक ज्योतिष की एक मूलभूत कुंडली होती है, जिसका प्रयोग ग्रहों, भावों और राशियों की स्वाभाविक स्थिति को समझने के लिए किया जाता है। इसे “ज्योतिष की आधारभूत कुंडली” भी कहा जाता है।
इस कुंडली में मेष राशि (Aries) को हमेशा पहले भाव (1st House) में रखा जाता है, भले ही किसी जातक की वास्तविक लग्न राशि कुछ और हो।
🌌 काल पुरुष कौन है?
“काल पुरुष” का शाब्दिक अर्थ है “समय का आदर्श पुरुष”। वैदिक ग्रंथों के अनुसार, यह एक आदर्श व्यक्ति की प्रतीकात्मक कुंडली है, जिसमें सभी 12 भावों और 12 राशियों को एक विशेष क्रम में रखा गया है। इस काल पुरुष के शरीर के अलग-अलग अंगों को 12 राशियों और 12 भावों से जोड़ा गया है।
🪔 काल पुरुष कुंडली की विशेषताएँ:
भाव | राशि | शरीर का भाग | कारक |
---|---|---|---|
1st | मेष | सिर | आत्मा, व्यक्तित्व |
2nd | वृष | चेहरा | धन, वाणी |
3rd | मिथुन | भुजाएँ | साहस, भाई |
4th | कर्क | हृदय | माता, सुख |
5th | सिंह | पेट | संतान, विद्या |
6th | कन्या | पेट/आंत | रोग, शत्रु |
7th | तुला | कमर | विवाह, संबंध |
8th | वृश्चिक | गुप्तांग | आयु, रहस्य |
9th | धनु | जांघ | धर्म, भाग्य |
10th | मकर | घुटने | कर्म, पेशा |
11th | कुम्भ | पिंडली | लाभ, मित्र |
12th | मीन | पाँव | व्यय, मोक्ष |
📘 काल पुरुष कुंडली का उपयोग क्यों होता है?
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ग्रहों और भावों की स्वाभाविक स्थिति समझने में
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राशियों के गुण और दोष जानने में
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ग्रहों का शारीरिक और मानसिक प्रभाव समझने में
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सभी कुंडलियों की तुलना करने के लिए एक मानक के रूप में
🔍 सामान्य कुंडली और काल पुरुष कुंडली में अंतर
सामान्य कुंडली | काल पुरुष कुंडली |
---|---|
जातक के जन्म समय और स्थान पर आधारित होती है | आदर्श और स्थिर रूप होती है |
लग्न राशि बदलती है | लग्न हमेशा मेष होता है |
व्यक्ति विशेष की होती है | सभी के लिए सामान्य आधार |
📜 निष्कर्ष:
काल पुरुष कुंडली ज्योतिष शास्त्र का मूल स्तंभ है। यह न केवल ग्रहों और भावों को समझने में सहायक है, बल्कि यह हमें धर्म, कर्म और शरीर के संबंधों की गहराई से जानकारी भी देती है। जो भी व्यक्ति ज्योतिष की गहराई में जाना चाहता है, उसके लिए काल पुरुष कुंडली का ज्ञान आवश्यक है।
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